जब से ये दुनिया बनी है महिलाओं के ब्रेस्ट हमेशा से सेक्सुअल आकर्षण का केंद्र रहे हैं। पुरुष इन्हें निहारते हैं और महिलाएं इन्हें संवारती हैं। स्तनों को उभारने या सुडौल बनाने की इच्छा हमेशा से ही महिलाओं को रही है, लेकिन ज्यादातर महिलाओं को नहीं मालूम कि उन्हें ब्रेस्ट की देखभाल कैसे करनी चाहिए?
कई बार छोटी सी दिक्कत के चलते महिलाएं कुछ गलतफहमियां भी पाल लेती हैं।
हम ब्रेस्ट से संबंधित कुछ ऐसे फैक्ट बता रहे हैं जो शायद आपको अब तक मालूम न हों।
19वीं सदी तक ब्रा का नामोनिशान नहीं था। महिलाएं दुपट्टे जैसे कपडे़ से अपने ब्रेस्ट को ढक कर उन्हें आकार देती थीं। 20 वीं सदी की शुरुआत में ब्रा का आगमन हुआ और 1930 के दशक के बड़े पैमाने पर ब्रा का निर्माण होने लगा।
ब्रा बनाने वाले लोगों ने कप साइज में ब्रा बनाना शुरू किया ताकि वो अलग-अलग साइज के ब्रेस्ट को फिट कर सकें। परफेक्ट फिटिंग वाले ब्रा ब्रेस्ट्स को सही शेप में रखते हैं लेकिन आपको ये जानकर आश्चर्य होगा कि ज्यादातर अमेरिकी महिलाएं गलत फिटिंग वाली ब्रा पहनती हैं।
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आजकल लड़कियां सुंदर दिखने के लिए ही ब्रेस्ट इंप्लाट करा रहीं है। पहले तो ग्लैमर से जुड़ी महिलाएं ही ब्रेस्ट सर्जरी करवातीं थी, लेकिन अब तो उच्च वर्ग और मध्यम वर्ग से भी काफी महिलाएं और लड़कियां ऐसा करवा रही हैं। हाई सोसाइटी और खूबसूरत दिखने के सामाजिक दबाव ने इस सर्जरी को अब काफी लोकप्रिय बना दिया है।
अमेरिकन सोसाइटी ऑफ प्लास्टिक सर्जनस के पास उपलब्ध आंकड़ों की मानें तो साल 2006 से ब्रेस्ट्स की साइज के लिए प्लास्टिक सर्जरी की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। इन सर्जरी में से उन महिलाओं की संख्या ज्यादा थी जो अपने ब्रेस्ट की साइज़ कम करवाना चाहती थीं।
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सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंसन की एक रिपोर्ट के अनुसार साल 2007 से ब्रेस्ट फीडिंग कराने वाली महिलाओं की संख्या में काफी वृद्धि हुई है। पांच फीसदी से अधिक महिलाओं ने तीन महीने तक और चार फीसदी महिलाओं ने अपने बच्चे को छह महीने तक स्तनपान कराना शुरू किया है।
आंकड़े बताते हैं कि काली महिलाएं और वैसी महिलाएं जिनकी आमदनी ज्यादा है या तीस की उम्र की महिलाएं ज्यादा स्तनपान कराती हैं। दरअसल, ऐसा करने से ना सिर्फ ब्रेस्ट के साइज में बदलाव आता है बल्कि उनमें उठान भी अच्छे से आता है और ये कैंसर से भी बचाव करता है।
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न्यूजीलैंड की यूनिवर्सिटी ऑफ़ वेलिंगटन में किए गए एक शोध के अनुसार 47 फीसदी पुरुषों की नजर सबसे पहले महिलाओं के ब्रेस्ट पर जाती है जबकि केवल 20 फीसदी का ध्यान चेहरे पर जाता है।
शोधकर्ताओं ने पाया कि पुरुष महिलाओं के किसी अन्य हिस्से की तुलना में ब्रेस्ट को ज्यादा देर तक निहारते हैं। चाहे उसकी साइज जो भी हो।
आगे जानें, क्या सचमुच ब्रेस्ट का साइज बदलता रहता हैं?
माहवारी के दौरान शरीर के हर्मोन लेवल में उतार-चढ़ाव आते हैं जिसका असर ब्रेस्ट साइज पर पड़ता है। साथ ही उम्र के अलग-अलग पड़ावों जैसे गर्भाधान और मीनोपॉज के दौरान भी ब्रेस्ट और निपल्स के साइज़ का बदलना स्वाभाविक है।

आगे जानें, निप्पल पर बालों का क्या राज है?
वैसे तो सभी महिलाओं के निप्पल पर बाल नहीं होते लेकिन कुछ महिलाओं के निप्पल पर बाल होते हैं जो स्वाभाविक हैं। निप्पल के बाल का रंग भी प्यूबिक बालों की तरह होता है।
ये बाल चिंता का विषय नहीं हैं लेकिन अगर कोई चाहे तो डॉक्टर की मदद से इनसे स्थाई मुक्ति पाई जा सकती है। हां, अगर बालों की संख्या ज्यादा है तो चिंता का विषय हो सकता है। इसके लिए संबंधित डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।
आगे जानें, क्या किसी के दो से ज्यादा निप्पल हो सकते हैं?
महिलाओं में कई बार दो से ज्यादा निपल्स भी पाए गए हैं। ये निपल्स ब्रेस्ट टिश्यू भी विकसित कर सकते हैं। लिली एलन और मार्क वह्ल्बेर्ग जैसे सेलिब्रिटी के बारे में कहा जाता है कि उनके भी दो से अधिक निपल्स थे।
एक्स्ट्रा निपल कई बार कांखों से शुरू होकर मिल्क लाइन से गुजरते हुए जांघों तक पहुंचता है। एक अजीबोगरीब वाकये में तो एक 22 साल की युवती के पांव पर एक्स्ट्रा निपल पाया गया।
आगे जानें, क्या हर गांठ कैंसर ही होती हैं?
ब्रेस्ट में अगर लम्प यानि गांठ हो तो अक्सर महिलाएं घबरा जाती हैं लेकिन विशेषज्ञों के अनुसार 80 से 85 फीसदी गांठ कैंसर नहीं होते। 40 से कम उम्र की महिलाओं में मंथली पीरियड के पहले स्वस्थ ब्रेस्ट में टिश्यू की संख्या बढ़ जाती है जिसकी वजह से उसकी साइज बढ़ जाती है।
इससे परेशान होने की कोई जरुरत नहीं है। अगर इसके बाद भी शक हो तो डॉक्टर से ब्रेस्ट कैंसर की जांच करवा लेनी चाहिए।
आगे जानें, स्मोकिंग का ब्रेस्ट पर क्या प्रभाव पड़ता है?
हाल ही में किए गए एक सर्वे के अनुसार स्तनपान कराने से ब्रेस्ट के आकार पर कोई असर नहीं पड़ता लेकिन धूम्रपान के कारण ब्रेस्ट जरूर ढीले पड़ जाते हैं।
यूनिवर्सिटी ऑफ़ केनटर्की के शोधकर्ताओं के अनुसार धूम्रपान की वजह से ब्रेस्ट में पाए जाने वाला इलास्टिन नामक प्रोटीन कमजोर पड़ने लगता है। यह वही प्रोटीन है जो ब्रेस्ट्स को अपने सही आकार में रखता है। वजन में कमी, गर्भधारण और हार्मोंस में परिवर्तन भी ब्रेस्ट के ढीले होने के लिए जिम्मेदार हैं।
आगे जानें, क्या सचमुच ब्रेस्ट से प्रेगनेंसी के बारे में पता लगा सकते हैं?
आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि अगर कोई महिला गर्भधारण करती है तो लोगों को इसकी जानकारी उसके पेट से पहले ब्रेस्ट दे देते हैं।
गर्भ धारण की पहली तिमाही में ब्रेस्ट मुलायम होकर बदलने लगते हैं। इसका यह मतलब है कि महिला का शरीर स्तनपान के लिए तैयार हो रहा है।